अक्षय तृतीया का है जैन धर्म के प्रथम तीर्थंकर ऋषभ देव से विशेष संबंध
जैन धर्मावलंबी करते है 13 मास का एकान्तर उपवास तप
जोधपुर।श्री जैन श्वेताम्बर तेरापंथी सभा सरदारपुरा व जोधपुर के संयुक्त आयोजन में भारत वर्ष के महत्वपूर्ण पर्व अक्षय तृत्तीया पर्व का भव्य आयोजन किया दिनांक 23 अप्रैल को प्रातः 8.45 बजे से तेरापंथ भवन अमरनगर में आयोजित किया जायेगा।
सभा सरदारपुरा अध्यक्ष श्री सुरेश जीरावाला ने दी जानकारी के अनुसार आचार्य श्री महाश्रमण जी की सुशिष्या साध्वी श्री प्रमोद श्री जी आदि ठाणा-5, साध्वी श्री कुंदन प्रभा जी आदि ठाणा-4 व साध्वी श्री प्रांजल प्रभा जी आदि ठाणा-4 के सान्निध्य में इस कार्यक्रम का आयोजन होगा, जिसमे वर्षीतप के आराधक तपस्वी तेरह माह के एकांतर तप का पारणा करेंगे।
सभा जोधपुर अध्यक्ष श्री पन्नालाल कागोत ने बताया अक्षय तृतीया जैन धर्मावलम्बियों का महान धार्मिक पर्व है। इस दिन जैन धर्म के प्रथम तीर्थंकर श्री ऋषभदेव भगवान ने एक वर्ष की पूर्ण तपस्या करने के पश्चात इक्षु (शोरडी-गन्ने) रस से पारायण किया था। उसी परंपरा को काल की अपेक्षा से निभाते हुए जैन अनुयायियों द्वारा इस वर्षीतप को चैत्र माह में आरंभ कर पूरे 13 महीने तक एक दिन आहार लेना या दूसरे दिन निरआहार रहना का दुष्कर तप किया जाता है। यह तप ही वर्षीतप के नाम से दुनियाभर में प्रसिद्ध है।
तेरापंथ युवक परिषद सरदारपुरा के अध्यक्ष महावीर चौधरी ने बताया कि इस वर्ष जोधपुर शहर का सौभाग्य है कि यहां आचार्य श्री महाश्रमण जी के तीन सुशिष्य - सुशिष्या के वर्षीतप का पारणा जोधपुर नगर में है। मुनि श्री जय कुमार जी अपने दुसरे, साध्वी श्री विजय प्रभा जी अपने 12वे व साध्वी श्री मध्यस्थप्रभा जी अपने प्रथम वर्षीतप का पारणा जोधपुर में करेंगे। और इसी सुअवसर पर तेयुप के सदस्य 22 अप्रैल को सामूहिक उपवास कर साधु साध्वियों के तप की अनुमोदना कर रहे हैं।
तेरापंथ युवक परिषद जोधपुर के अध्यक्ष मितेश जैन ने बताया कि इस कार्यक्रम में अनेक जैन वर्षीतप के आराधक तपस्वी भी अपने वर्षीतप की तपस्या का सामूहिक पारणा इक्षु रस का सेवन कर, अमरनगर भवन में करेंगे।